देश के अधिकांश राज्यों में अब मौसम में बदलाव महसूस किया जा रहा है, और कई जगहों पर सर्दी ने दस्तक दे दी है। इसके साथ ही अस्पतालों में मरीजों की संख्या बढ़ रही है। सर्दी, खांसी, और बुखार से पीड़ित मरीजों की संख्या में तेजी से इजाफा हो रहा है। बदलते मौसम का सबसे अधिक असर बच्चों और बुजुर्गों पर पड़ रहा है। इस दौरान श्वसन संबंधी बीमारियों के मरीज भी तेजी से बढ़ते नजर आ रहे हैं। चिकित्सकों का कहना है कि इस मौसम में बच्चों और बुजुर्गों की खास देखभाल करना बेहद जरूरी है, खासकर उनके खानपान पर विशेष ध्यान देने की आवश्यकता है।
डॉक्टरों की सलाह: इन बातों का रखें ध्यान
डॉक्टरों के अनुसार सर्दी के मौसम में आमतौर पर कौन-कौन सी बीमारियां देखने को मिलती हैं और इनसे बचाव के लिए क्या सावधानियां बरतनी चाहिए।
सर्दी के मौसम में बढ़ती बीमारियां
डॉक्टरों के अनुसार सर्दियों में श्वसन तंत्र की बीमारियां, एलर्जी, अस्थमा, और हृदय संबंधी समस्याएं, जैसे हार्ट अटैक और ब्रेन स्ट्रोक के मामले अधिक देखने को मिलते हैं। इनसे बचाव के लिए जीवनशैली में बदलाव करना बेहद जरूरी है।
- कपड़ों का ध्यान रखें: घर से बाहर निकलते समय शरीर को अच्छी तरह ढकें और ठंड से बचने के लिए उचित कपड़े पहनें।
- हरी सब्जियों का सेवन करें: सर्दियों में हरी सब्जियां, जैसे पालक, मेथी, सरसों का साग, बथुआ, और पत्ता गोभी शरीर को स्वस्थ और तंदुरुस्त बनाए रखते हैं। ये सब्जियां पोषण देने के साथ प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने में भी मदद करती हैं।
सर्दियों में खानपान की सलाह
डॉक्टरों ने बताया कि ठंड के मौसम में खानपान का ध्यान रखना बेहद जरूरी है।
- हरी सब्जियां: पालक, मेथी, सरसों का साग, बथुआ, फूलगोभी और पत्ता गोभी का सेवन फायदेमंद है।
- गाजर और अमरूद: गाजर और विटामिन सी युक्त अमरूद इम्यूनिटी बढ़ाने में सहायक होते हैं।
- बाजरा और मक्का: इनका उपयोग शरीर को गर्म रखने में मदद करता है।
- सूप का सेवन: अलग-अलग प्रकार के सूप पिएं और घर का बना खाना खाएं।
- ठंडी चीजों से बचें: ठंडा पानी, कोल्ड ड्रिंक और फास्ट फूड से दूरी बनाएं।
बच्चों और बुजुर्गों का रखें विशेष ध्यान
बदलते मौसम में बच्चों और बुजुर्गों की इम्यूनिटी कमजोर हो सकती है। डॉक्टरों ने सलाह दी है कि उनकी दिनचर्या और खानपान का खास ध्यान रखें। सुबह और शाम वॉक के दौरान गर्म कपड़े पहनें और ठंड से बचाव करें।सर्दियों में ध्यान रखकर इन बीमारियों से बचा जा सकता है और स्वस्थ जीवन जिया जा सकता है।