झारखंड मुक्ति मोर्चा (झामुमो) ने बिहार विधानसभा चुनाव 2025 को लेकर अपने प्रमुख सहयोगियों—राष्ट्रीय जनता दल (राजद) और कांग्रेस—पर गंभीर आरोप लगाए हैं। झामुमो के केंद्रीय महासचिव सह प्रवक्ता सुप्रियो भट्टाचार्य ने पार्टी कार्यालय में आयोजित प्रेस वार्ता में कहा कि राजद ने बार-बार आश्वासन देकर झामुमो के साथ धोखा किया। उन्होंने बताया कि इसी कारण पार्टी ने बिहार में छह सीटों—चकाई, धमदाहा, कटोरिया, मनिहारी, जमुई और पीरपैंती—पर चुनाव लड़ने का निर्णय लिया है। इनमें कटोरिया और मनिहारी अनुसूचित जनजाति (एसटी) आरक्षित सीटें हैं, जबकि पीरपैंती अनुसूचित जाति (एससी) सीट है। सुप्रियो ने यह भी संकेत दिया कि आने वाले दिनों में यह संख्या 10 तक बढ़ सकती है।
सुप्रियो भट्टाचार्य ने कहा कि झामुमो ने हमेशा गठबंधन की राजनीति में सम्मान और मर्यादा को प्राथमिकता दी है। उन्होंने याद दिलाया कि 2019 के झारखंड विधानसभा चुनाव में झामुमो ने राजद को सात सीटें दी थीं, जिनमें से एकमात्र विजयी उम्मीदवार सत्यानंद भोक्ता को पांच साल तक कैबिनेट मंत्री बनाया गया था। वहीं, 2024 के लोकसभा चुनाव में भी राजद को छह सीटें दी गईं, जिनमें चार उम्मीदवारों ने जीत दर्ज की और एक को महत्वपूर्ण मंत्रालय की जिम्मेदारी सौंपी गई। सुप्रियो ने कहा, “हमने झारखंड में राजद को पूरा सम्मान दिया, लेकिन बिहार में हमें बार-बार इंतजार की नसीहतें मिलीं। झामुमो सब कुछ सह सकता है, लेकिन सम्मान से समझौता नहीं करेगा।”