पटना: बिहार की राजनीति में बदलाव का आह्वान करते हुए, द प्लुरल्स पार्टी (दप्पा) ने एक बार फिर अपनी पारदर्शी, लोकतांत्रिक, और संस्थागत प्रक्रिया के माध्यम से उम्मीदवार चयन की घोषणा की है। पार्टी ने स्पष्ट किया कि बेहतर राजनीति के लिए मजबूत और पारदर्शी नेतृत्व ही एकमात्र रास्ता है, और इसी सिद्धांत पर वह पूरी निष्ठा से कायम है।पार्टी ने अपने सोशल मीडिया पोस्ट के द्वारा कहा कि वर्ष 2020 की तरह, इस बार भी दप्पा ने उम्मीदवार चयन के लिए एक ऐसी प्रक्रिया अपनाई है, जिसमें हर कार्यकर्ता और समर्थक को समान अवसर और सम्मान प्राप्त होगा। पार्टी ने जोर देकर कहा कि उम्मीदवारों का चयन कोई बंद कमरे का फैसला नहीं होगा, बल्कि यह एक सहभागी प्रक्रिया होगी, जिसमें हर आवाज़ की अहमियत होगी।
पार्टी के प्रवक्ता ने बताया, “हमारी प्रक्रिया में पारदर्शिता और गंभीरता सुनिश्चित करने के लिए उम्मीदवारी के दावा प्रपत्र केवल भौतिक रूप से पार्टी कार्यालय में जमा किए जाएंगे। ऑनलाइन या अन्य किसी माध्यम से जमा प्रपत्र स्वीकार नहीं होंगे।” इच्छुक व्यक्ति पार्टी कार्यालय से प्रपत्र प्राप्त कर सकते हैं।इसके अतिरिक्त, जो लोग अपनी राजनीतिक रुचि और मंशा जाहिर करना चाहते हैं, वे पार्टी की आधिकारिक वेबसाइट पर उपलब्ध लिंक के माध्यम से अपनी जानकारी साझा कर सकते हैं। इससे पार्टी उनके साथ संवाद स्थापित कर सकेगी।दप्पा ने अपने बयान में कहा, “यह सिर्फ़ राजनीति नहीं, बल्कि बिहार को एक नया और सशक्त नेतृत्व देने की प्रक्रिया है। हम हर उस व्यक्ति को आमंत्रित करते हैं जो इस ऐतिहासिक बदलाव का हिस्सा बनना चाहता है।”
पार्टी का यह कदम बिहार की राजनीति में पारदर्शिता और लोकतांत्रिक मूल्यों को मजबूत करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण प्रयास माना जा रहा है। राजनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि दप्पा की यह पहल न केवल युवाओं को प्रेरित करेगी, बल्कि बिहार की राजनीति में एक नई दिशा भी प्रदान करेगी।