सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को पश्चिम बंगाल सहित कई राज्यों में विशेष गहन पुनरीक्षण (SIR) के दौरान बूथ लेवल ऑफिसर्स (BLO) को धमकाने और कार्य में बाधा डालने की घटनाओं पर गंभीर चिंता व्यक्त की। अदालत ने चुनाव आयोग (EC) से कहा कि जहां-जहां सहयोग की कमी या अवरोध की स्थिति उत्पन्न हो रही है, उन मामलों को तुरंत सुप्रीम कोर्ट के संज्ञान में लाया जाए ताकि आवश्यकता पड़ने पर न्यायालय आदेश पारित कर सके।
कोर्ट ने स्पष्ट कहा कि यदि हालात और बिगड़ते हैं, तो पुलिस बल तैनात करने के अलावा कोई विकल्प नहीं बचेगा। चुनाव आयोग ने भी अदालत को आश्वस्त किया कि उनके पास ऐसे मामलों से निपटने और BLO सहित अन्य चुनावी कर्मचारियों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए पर्याप्त संवैधानिक अधिकार हैं। सुप्रीम कोर्ट ने चेताया कि SIR प्रक्रिया में बाधा लोकतांत्रिक व्यवस्था के लिए खतरनाक स्थिति उत्पन्न कर सकती है।
उधर, चुनाव आयोग ने SIR प्रक्रिया की पारदर्शिता और निगरानी बढ़ाने के लिए पश्चिम बंगाल में पांच वरिष्ठ IAS अधिकारियों को स्पेशल रोल ऑब्जर्वर (SRO) नियुक्त किया है। 4 नवंबर से शुरू हुई इस प्रक्रिया के तहत प्रत्येक संभाग की निगरानी अलग-अलग अधिकारियों को सौंपी गई है। अंतिम मतदाता सूची 14 फरवरी 2026 को जारी की जाएगी।

